जन्म और मृत्यु एक अध्याय, समय और स्वांस बड़ा बलवान-आचार्य कंवरपाल ब्रह्मचारी
रिपोर्ट एसडी गौतम
गढ़ीपुख्ता-अखिल भारतीय संत शिरोमणि सतगुरु रविदास मिशन रजि. के तत्वाधान मे गुरु गद्दी ऊन में सतगुरु स्वामी समनदास जी महाराज के आशीर्वाद से सत्संग कर ब्रह्मलीन महात्मा सतबीर दास को श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
गुरु गद्दी ऊन के व्यवस्थापक महंत आचार्य कंवरपाल ब्रह्मचारी जी ने फरमाया कि जिस कुल में संत चोला धारण करके आते है वहां दोनों कुल भवसागर से पार हो जाते है इसलिए वृद्धावस्था व युवा पीढ़ी को आध्यात्मिक शिक्षा की ओर आगे बढ़ना होगा जिससे कि गुरुजी के मिशन को गति मिलती रहे क्योंकि कई त्याग से एक साधु तैयार होता है। उन्होंने ब्रह्मलीन महात्मा सतवीर दास को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए उनके द्वारा गद्दी ऊन व आश्रम होशंगपुर में की गई समाजसेवा अविस्मरणीय है। उन्होंने जीवन को एक पुस्तक करार देते हुए कहा कि इसमें जन्म और मृत्यु के दो अध्याय है जिसमें समय और स्वास बड़ा बलवान है। उन्होंने अहम व वहम को छोड़कर ईर्ष्या, चुगली, निंदा, मान बडाई को छोड़कर गलतियों से तौबाकर सतमार्ग पर चलने की बात कहते सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों से सावधान रहने की बात कही।कार्यक्रम में महात्मा जगत दासजी, महात्मा ज्ञानदास जी, महात्मा महिपाल दास, रामपाल सिंह गौतम व सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता एनपी आनंद ने भी विचार रखे। गौरबतल है कि ब्रह्मलीन महात्मा सतबीर दास का कस्बा ऊन में बीते 15 नवंबर को एक सड़क दुर्घटना में निधन हो गया था। संचालन संत श्रद्धादास व एसडी गौतम ने किया। इस दौरान महात्मा राजकुमार दास बाल ब्रह्मचारी खुरालगढ़, महा. गुरुमुख दास ब्रह्मचारी, महा. बेगराज दास, महा. कृष्णदास, महा. नेपाल दास, महा. प्रेमदास, महा. परमदास, महा. बबलूदास, महा. समुद्रदास, महा. बृजपाल दास, महा. चरण दास, महा. गोविंद दास, महा. राजूदास, महा. मिंटूदास,महा. राजपालदास, मूलचंद चौहान, गुरुचरण कटारिया, अमित प्रमुख, नितराम, अक्षय बरवाला, शौकेंद्र, विनोददास, रणधीरदास, रामपाल सिंह, कलीराम ठेकेदार, रोहताश, रामकरण ठेकेदार, सुरेश प्रधान, नीटू रविदासिया, विक्रम, निर्मल, अर्जुन सूर्यवंशी, कपिल क्रांतिकारी, सागर समनदासिया, अजीत दिनकर, अनुज रविदासिया व सुंदर रविदासिया समेत हजारों अनुयाई मौजूद रहे।


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