पश्चिमी यूपी में दलितों के साथ साथ सर्वसमाज के चहेते बने पूर्व विधायक जगपाल सिंह
रिपोर्ट एसडी गौतम
सहारनपुर-राजनीति में कब कहां और क्या हो जाए कुछ कहा नहीं जा सकता वैसे राजनीति में सब कुछ संभव है।
केंद्र व प्रदेश में चल रही डबल इंजन की सरकार तथा अन्य राजनीतिक दल लगातार अनुसूचित जाति वर्ग को अपने पाले में रखने को लगातार बेताब रहते हैं जिसके लिए अनेकों दलों ने समाज के लोगों को झंडाबरदार बनाया हुआ है लेकिन अगर पश्चिमी यूपी की बात करे तो मिनी मुख्यमंत्री के नाम से प्रसिद्ध तत्कालीन विधानसभा हरौडा के पूर्व विधायक जगपाल सिंह आज दलितों की पहली पसंद बने हुए हैं जिसकी बानगी उनके कैंप कार्यालय पर लगातार उमड़ती भीड़ है। जहां पर देखने को मिलता है कि जो पार्टी या संगठन पानी पी पीकर लगातार भाजपा को कोसती रहती है उनके कार्यकर्ता भी कैंप कार्यालय पर लगातार हाजिरी लगाकर अपना कार्य कराते रहे है और अंदरखाने पूर्व विधायक जगपाल सिंह को अपना आदर्श नेता मानते है। वैसे ग्रामीण इलाको में आज भी पुराने लोग जगपाल सिंह को प्यार से भूस वाले के नाम से जानते है और उनपर प्यार लुटाते है। और शायद यही पूर्व विधायक जगपाल सिंह का जादू ही रहा कि सहारनपुर देहात विधानसभा जैसी सीट पर भाजपा ने उन्हें अपना प्रत्याशी बनाया जिनके प्रचार हेतु स्वयं गृह मंत्री अमित शाह ने भी जान फूंकी थी। यही कारण है अनेकों मंत्रीगण उनके कैंप कार्यालय पर आ चुके हैं और आते रहते है तथा उनसे राजनीतिक अनुभव प्राप्त करते रहते है। विधायक पुत्र पूर्व जिलाध्यक्ष योगेश कुमार ने बताया कि मेरे पिताजी का सम्पूर्ण समय समाज की उन्नति तथा बिना किसी भेदभाव के सर्वसमाज के लिए न्योछावर है और उनके सामाजिक तथा राजनीतिक अनुभव तथा व्यवहार के कारण ही सर्वसमाज की जनता बेहद लगाव करती है।
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